मेरी बात

मेरी बात : पत्रकार भाइयो ! इतना सन्नाटा क्यों पसरा है ?

हाल ही बीकानेर में कवि कुमार विश्वास को बुलाया गया था। ..लेकिन कुमार से ज़्यादा मीडिया को पासेज न देने की चर्चाओं ने सुर्खियां बटोरीं। कुमार तो शो करके चले गये, लेकिन पत्रकारों के लिये पीछे छोड़ गये- विश्वास को…

व्यंग्य : मोदी जी ! मेरा इतना सा काम कर दीजिये

आप में से ज़्यादातर लोगों ने कॉमेडी फिल्म ‘हेराफेरी’ ज़रूर देखी होगी। इस फिल्म में जो परेशानी बाबूराव को थी, ठीक वैसी ही परेशानी से मैं पिछले कई बरसों से जूझ रहा हूं। इस उलझन की सुलझन सिर्फ प्रधानमंत्री मोदी…

मेरी बात : आइए, ऐसा करके पत्रकारिता की ‘तसवीर’ बदलें

पत्रकार बंधुओ ! कुछ दिन पहले मैंने मीडिया की मौजूदा स्थिति पर चिंता जताते हुए एक आलेख (यहां पढ़ें- पत्रकारो ! जागो..) लिखा था जिसमें आप सबसे जानना चाहा था कि क्या ऐसा कुछ नहीं किया जा सकता- जिससे मीडिया…

मेरी बात : किशमीदेसर की ये ‘जीत’ आप सबको समर्पित

किशमीदेसर में वर्षा जल निकासी की समस्या के मुद्दे पर आपके ‘ख़बर अपडेट’ की जीत हुई। क़रीब 15 दिनों से चल रहा ‘किशमीदेसर बचाओ संघर्ष समिति’ का धरना आज आख़िरकार समाप्त हो गया। भाजपा नेता गुमान सिंह और निगम आयुक्त…

मेरी बात : अर्जुन राम जी ! क्षमा वाणीस्य भूषणं

गुरुवार को बीकानेर की एसकेआरएयू यूनिवर्सिटी में क़ानून मंत्री ने प्रेस के साथ जो बर्ताव किया, उस पर मैंने ‘मेरी बात’ के जरिये देशभर के पत्रकारों से सुझाव मांगे थे। ये आलेख देश के अमूमन हर राज्य के पत्रकार (कुल…

मेरी बात : पत्रकार साथियों ! अब तो जागो..

प्रिय पत्रकार साथियों ! आज ‘मेरी बात’ आप सबके लिये है। मेरी कोशिश रहेगी कि ये आलेख मैं देश के हर राज्य के पत्रकारों तक पहुंचाऊं। जिसमें प्रिंट, इलेक्ट्रोनिक और डिजिटल मीडिया से जुड़े सभी पत्रकार शामिल होंगे। मैं सबके…

मेरी बात : सिर साटे रूंख रहे, तो भी सस्तो जाण।

15 अगस्त 2024 की तारीख़। आज़ादी का दिन। आप सबको स्वतंत्रता दिवस की बधाई। यह आर्टिकल लिखना शुरु करते ही पास ही कहीं से तेज़ आवाज़ में बज रहा यह गीत सुनाई देने लगा है- “अपनी आज़ादी को हम हरगिज…

मेरी बात : राजा जी ! ‘जाग’ जाइये, ‘सुबह’ हो गई है..

गोरख पांडे की कविता है, जो लोकसभा चुनाव के परिणामों पर मौजू लगती है- राजा ने कहा- “रात है।” रानी ने कहा- रात है।मंत्री बोला- रात है।संत्री बोला- रात है।…यह सुबह-सुबह की बात है। हर छोटे-बड़े ‘राजा’ को यही लगता…

मेरी बात : पाठकों/दर्शकों ! ख़ुश होइये कि ‘बीकानेर के विकास’ की बातें होने लगी हैं

पाठकों और दर्शकों ! आज बीकानेर का 537वां स्थापना दिवस है। पूरा शहर ख़ुशियों से झूम रहा है। इस ख़ुशी में एक ख़ुशी और शामिल कर लीजिये। ख़ुश होइये कि आपके ‘बीकानेर के विकास’ की बातें होने लगी हैं। हमने…

मेरी बात- हम सबके ‘इगो’ ने ‘बीकानेर स्थापना दिवस’ के मायने बदल दिये हैं

चली चली रे पतंग मेरी चली रे..चली बादलों के पार, हो के डोर पे सवार.सारी दुनिया ये देख देख जली रे.. 1957 में आई फिल्म ‘भाभी’ का ये गीत बीकानेर में अक्षय द्वितीया और अक्षय तृतीया पर ख़ूब बजेगा। नगर…